MTAR Technologies एक बार फिर से निवेशकों की नजरों में छा गई है। कंपनी को दो बड़े अंतरराष्ट्रीय ऑर्डर मिले हैं, जो कुल मिलाकर लगभग ₹34 करोड़ के हैं। पहला ऑर्डर अमेरिका की Bloom Energy Corporation से आया है, जिसकी वैल्यू $2.45 मिलियन यानी करीब ₹21.02 करोड़ है। यह प्रोजेक्ट सितंबर 2025 तक पूरा किया जाएगा। दूसरा ऑर्डर इज़राइल की Rafael Advanced Defense Systems से मिला है, जिसकी वैल्यू $1.51 मिलियन यानी लगभग ₹12.98 करोड़ है और इसे मार्च 2026 तक निष्पादित किया जाएगा। ये दोनों ऑर्डर इस बात का प्रमाण हैं कि MTAR Technologies को अपनी गुणवत्ता और भरोसे के लिए लगातार इंटरनेशनल क्लाइंट्स से डिमांड मिल रही है। Clean Energy और Aerospace सेक्टर में कंपनी की पकड़ अब पहले से भी ज्यादा मजबूत होती जा रही है।

MTAR Technologies: एक भरोसेमंद भारतीय इंजीनियरिंग कंपनी
MTAR Technologies की शुरुआत 1970 में हुई थी और तब से यह कंपनी डिफेंस, न्यूक्लियर, एयरोस्पेस और क्लीन एनर्जी जैसे अत्यंत महत्वपूर्ण क्षेत्रों में काम करती आ रही है। हैदराबाद आधारित इस कंपनी की गिनती देश की अग्रणी इंजीनियरिंग कंपनियों में होती है। कंपनी का मार्केट कैपिटलाइजेशन ₹4,800 करोड़ से भी ज्यादा है, और 31 दिसंबर 2024 तक इसका ऑर्डर बुक ₹942.25 करोड़ तक पहुंच चुका था। बीते 10 वर्षों में MTAR ने औसतन 16.4% की सेल्स ग्रोथ दर्ज की है। यह ग्रोथ दर्शाती है कि कंपनी ने समय के साथ तकनीकी रूप से खुद को अपग्रेड किया है और अपने क्लाइंट्स की जरूरतों को अच्छी तरह से समझा है।
स्टॉक में आई 35% की जबरदस्त छलांग
MTAR का स्टॉक हाल ही में अपने 52-हफ्ते के लो ₹1,152 से करीब 35% ऊपर चला गया है। इसका मुख्य कारण यही है कि निवेशकों को कंपनी के आने वाले समय में जबरदस्त ग्रोथ की उम्मीद है। खासकर जब से Bloom Energy और Rafael जैसे नामों से ऑर्डर मिले हैं, तब से कंपनी के प्रति मार्केट में पॉजिटिव सेंटिमेंट बन गया है। साथ ही, कंपनी ने 2025 के लिए 30-35% की रेवेन्यू ग्रोथ का अनुमान भी जताया है, जो निवेशकों के लिए एक और मजबूत संकेत है।
क्यों बड़े इन्वेस्टर्स दिखा रहे हैं भरोसा?
MTAR Technologies ने पिछले कुछ वर्षों में न केवल भारत में बल्कि अंतरराष्ट्रीय स्तर पर भी अपने नेटवर्क को मजबूत किया है। कंपनी अब केवल गवर्नमेंट प्रोजेक्ट्स पर निर्भर नहीं है, बल्कि Aviation और Clean Energy जैसे नए क्षेत्रों में भी अपने पैर जमा रही है। कंपनी ने कई मल्टीनेशनल क्लाइंट्स के साथ लॉन्ग टर्म एग्रीमेंट्स साइन किए हैं, जिससे उसका रेवेन्यू स्टेबल बना रहेगा। इसके अलावा, MTAR अब EBITDA मार्जिन बढ़ाने के लिए कॉस्ट कंट्रोल स्ट्रैटेजी पर काम कर रही है, जो निवेशकों को आकर्षित कर रही है। ऐसे माहौल में जब ग्लोबल मार्केट्स अस्थिर हैं, MTAR जैसी कंपनियां स्थिरता और ग्रोथ का भरोसा देती हैं और यही वजह है कि बड़े निवेशक इस पर दांव लगाने में कोई हिचकिचाहट नहीं दिखा रहे।
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